राजस्थान के चुरू जिले का सादुलपुर कस्बा जिसे राजगढ़ के नाम से भी जाना जाता है यह कस्बा हरियाणा की सीमा से लगा हुआ है सादुलपुर थाना क्षेत्र जिले मे अपराधियो का गढ़ माना जाता रहा है। 19 सितंबर 2019 को सादुलपुर एसएचओ के रूप मे राजस्थान के सबसे ईमानदार इंस्पेक्टर विष्णुदत्त बिश्नोई ने पदभार संभाला जो मूल रूप से श्रीगंगानगर जिले के रायसिंघनगर के रहने वाले थे।

आम दिनों मे सीआई विष्णुदत्त बिश्नोई अपने क्वाटर से 8 से 9 के बीच थाने मे आ जाते थे 23 मई को 9.30 बजे तक जब वो थाने मे नही आए तो थाना स्टाफ सीआई साहब को देखने क्वाटर पर गए गेट अंदर से बंद होने पर अनहोनी की आशंका से गेट खोलकर देखा तो कभी किसी के सामने न झुकने वाला पुलिस अधिकारी फंदे से झूलता हुआ मिला।
सीआई विष्णुदत्त बिश्नोई की आत्महत्या की खबर आग की तरह शहर मे फेल गयी देखते देखते लोग थाने के सामने हजारो की संख्या मे इकट्ठे हो गए और “ये आत्महत्या नही हत्या है” के नारे लगाने लगे लोगो को विश्वास नही हो रहा था की इतनी मजबूत इच्छाशक्ति वाला पुलिस अधिकारी आत्म हत्या कर सकता है। लोग इस मामले की जांच CBI से करवाने की करने लगे और सादुलपुर विधायक कृष्ण पुनिया केखिलाफ नारेबाजी करने लगे। उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ और DSP रामप्रताप विश्नोई की सीआई विष्णुदत्त के शव को मोर्चेरी मे रखने की बात पर कहासुनी हो गयी जिसके बाद डीएसपी को चुरू भेज कर मामला शांत किया गया।

विष्णुदत्त बिश्नोई जनता का थानेदार –
विष्णुदत्त बिश्नोई राजस्थान पुलिस मे एक ऐसे अधिकारी थे जिनका ट्रान्सफर जनता की डिमांड पर किया जाता था, जहां पुरे राजस्थान मे थानेदार का ट्रान्सफर राजनेताओं और अधिकारियों की डिजायर परहोता है वहीं विष्णुदत्त बिश्नोई का ट्रान्सफर जनता की डिमांड पर होता था।
एक महिला की शिकायत पर क्या किया सीआई विष्णुदत्त ने
2014 की बात है विष्णुदत्त बिश्नोई चुरू जिले के सुजानगढ़ थाने मे एसएचओ थे एक गरीब महिला जिसका पति दीवारों पर कंपनीयों के विज्ञापन की पेंटिंग करता था महिला ने बताया की उसके पति को महीने मे 3 4 बार काम मिलता है और वो उन पैसे की शराब पी जाता है जिसके कारण मैं औरमेरे बच्चे भूख से बेहाल रहते है महिला को अपनी जेब से 500 रु देकर रवाना करने के बाद विष्णुदत्त खुद गाड़ी लेकर गए और उस महिला के पेंटर पति को ठेके से शराब पीते हुये उठाकर थाने ले आए और वहाँ पड़े एक ट्रक पत्थरो को एक स्थान से दूसरे स्थान पर रखने को कहा जब पेंटर ने सारे पत्थर रख दिये तो दुबारा उन्हे उसी जगह रखने का आदेश दिया। आखिर मे पेंटर ने उनके सामने शराब न पीने की कसंम ली तब जाकर उसे घर भेजा और कहा मैं इसकी जानकारी तुम्हारे घर से लूँगा। ये वाकिया हमारी टीम के हैड सुरेश चौहान को उसपूर्व शराबी पेंटर ने बताया की अब मैं शराब नही पिता अब मेरा पूरा परिवार खुश है मुझे काम भी मिल जाता है और हमारे घर का गुजारा भी हो जाता है ऐसे थे विष्णुदत्त बिशनोई।

आज चुरू जिले के साथ साथ पूरे राजस्थान के लोग इस ईमानदार पुलिस अधिकारी को न्याय दिलवानेके लिए सीबीआई जांच की मांग कर रहे है ट्विटर पर #CBI_जांच_विष्णुदत्त_CI टॉप पर ट्रेंड कर रहा है ।